आज लांच होगा ISRO का GSAT-6A सैटेलाइट, जानें इससे क्या होगा फायदा
अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में भारत आज GSAT-6A के प्रक्षेपण के साथ यह वित्तवर्ष पूरा करेगा। GSAT-6A उच्च शक्ति का एस-बैंड संचार उपग्रह है।
नई दिल्ली : अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में भारत आज GSAT-6A के प्रक्षेपण के साथ यह वित्तवर्ष पूरा करेगा। GSAT-6A उच्च शक्ति का एस-बैंड संचार उपग्रह है।
इसका प्रक्षेपण यहां से करीब 110 किलोमीटर दूर तमिलनाडु के श्रीहरिकोटा स्थित अंतरिक्ष केन्द्र से प्रक्षेपण किया जाएगा। आज शाम 4:56 मिनट पर इस सैटेलाइट को लॉन्च किया जाएगा।
इसरो ने कहा कि गुरुवार को प्रक्षेपित होने वाले मिशन की उल्टी गिनती मिशन तैयारी समीक्षा समिति और प्रक्षेपण अधिकार बोर्ड से मंजूरी के बाद दिन में एक बजकर 56 मिनट पर शुरू हुई। इसरो ने कहा कि उपग्रह की एक मुख्य बात मल्टी बीम कवरेज सुविधा के जरिये भारत को मोबाइल संचार प्रदान करना है।
Andhra Pradesh: ISRO to launch GSLV-F08 carrying the #GSAT6A communication satellite from Satish Dhawan Space Centre (SDSC) in Sriharikota today. (Pic Source: ISRO) pic.twitter.com/zT6s17N1px
— ANI (@ANI) March 29, 2018
रॉकेट का वजन 415.6 टन है। यह जीएसएलवी की 12वीं उड़ान होगी और स्वदेशी क्रायोजेनिक इंजन के साथ छठी उड़ान होगी। उड़ान भरने के 17 मिनट बाद इसके साथ गया उपग्रह इससे अलग हो जाएगा तथा 36 हजार किलोमीटर की ऊंचाई पर भू-स्थैतिक कक्षा में स्थापित हो जाएगा।
GSAT-6A सैटेलाइट न सिर्फ ISRO के लिए बल्कि देश की सेनाओं के लिए भी काफी अहम है और इसकी सफल लॉन्चिंग इसरो के लिए एक और मील का पत्थर माना जाएगा। यह उपग्रह विकसित प्रौद्योगिकियों के प्रदर्शन के लिए एक मंच प्रदान करेगा, जिसमें 6 एम एस-बैंड अनफ्लेरेबल एटीना, हैंडहेल्ड ग्राउंड टर्मिनल व नेटवर्क प्रबंधन प्रौद्योगिकी शामिल हैं।