रायबरेली से गर्जा बूढ़ा शेर, गैंगवार का किया ऐलान

Update: 2017-07-10 03:09 GMT
कुमार सौवीर वरिष्ठ पत्रकार 
लखनऊ : अगर किसी को जनता के कल्‍याण के लिए स्‍थापित लोकतंत्र पर कुख्‍यात अपराधियों वाले गैंग-तंत्र की जीत का पुख्‍ता प्रमाण चाहिए हो तो आपको रायबरेली आना होगा। योगी-सरकार के सख्‍त प्रशासन पर पैरों तले रौंदते हुए यहां के अपना एकछत्र साम्राज्‍य स्‍थापित किये कुख्‍यात अपराधी अखिलेश सिंह ने अब यहां खुलेआम खून की नदियां बहा डालने की धमकी दे डाली है। साफ तौर पर धमकी दी है कि यहां के ठेकों पर अगर किसी ने भी नजर टेढ़ी करने का साहस दिखाया, तो उसकी लाश तक नहीं दिख पायेगी। अखिलेश का कहना है कि वे अब तक 41 कत्‍ल कर चुके हैं, जिनमें से 30-35 का तो अता-पता तक नहीं चल पाया है। 
जी हां, कांग्रेस समेत कई दलों में अदल-बदल कर विधायकी का चुनाव जीतते रहे अखिलेशसिंह का एक ऑडियो क्लिप सामने आया है। इस क्लिप में अखिलेश सिंह एक किसी अनाम शख्स को ठेके लिए ठेकेदार को धमकी दे रहे हैं कि अगर 24 घंटों में उसन ठेकेदार ने रायबरेली की जमीन नहीं छोड़ी, तो उसकी लाश तक उसके परिवारी जन नहीं खोज पायेंगे। देते हुए सुना जा सकता है। हालांकि बाद में उस ठेकेदार ने भी सामने आकर खुलेआम कह दिया है कि अखिलेश सिंह ने उन्‍हें जान से मारने की धमकी दी थी, इतना ही नहीं, उस ठेकेदार पर जानलेवा हमला भी अखिलेश सिंह ने ही कराया है।
क्या कहा है 
: मूंछ उखाड़ूंगा, हाथ-पांव तोड़ कर मुंह में पेशाब करवाऊंगा इन लोगों में : अखिलेश सिंह कुख्‍यात अपराधी है, नेता-एमएलए बाद में। बात में पलटी मार कर बोले कि मैंने धमकी नहीं दी : अब तक 41 कत्‍ल कर चुका हूं, कोई भी मेरा कुछ नहीं उखाड़ पाया, एके-47 से लैस है मेरा गैंग :

यह अलग बात है कि इस ऑडियो क्लिप के वायरल होने के बाद अखिलेश सिंह के सुर एकदम नीचे आ गये और वे बचाव की मुद्रा में आ गये हैं। उनका दावा है कि धमकी देने वाली आवाज उनकी नहीं है, बल्कि उन्‍हें किसी राजनीतिक साजिश का शिकार बनाया जा रहा है। फिलहाल बीमार हैं, और इसीलिए उन्‍होंने अपनी राजनीतिक राजगद्दी अपनी बेटी अदिति सिंह को थमा रखी है। सूत्र बताते हैं कि अखिलेश सिंह ने आदिति सिंह को इसलिए अपनी गद्दी थमायी, क्‍योंकि वे अपना इलाज के लिए अक्‍सर सिंगापुर में रहते हैं। लेकिन सूत्र बताते हैं कि राजनीति की बागडोर भले ही अखिलेश ने अपनी बेटी को दे डाली हो, लेकिन अपराध और गैंग का नेतृत्‍व अखिलेश खुद ही करते हैं। सिंगापुर से भी उनका गैंग संचालित होता रहता है।
मामला कुछ यूं है कि यहां की कुंदनगंज सीमेंट फैक्‍ट्री के लिए माल के लदान का काम एक नये और बाहरी ठेकेदार ने हासिल कर लिया था। जबकि यह ठेका अखिलेश सिंह चाहते थे। इसके लिए उन्‍होंने दीगर ठेकेदारों को चेतावनी भी दी थी, लेकिन रगों में नयी जवानी में नये लहू वाले नये ठेकेदारों ने उनकी ख्‍वाहिशों का जनाजा निकाल दिया और अखिलेश की मात हो गयी। बस इसी पर अखिलेश सुलग गये। अमितेश और विक्रम नामक इन ठेकेदारों पर उसी दौरान जानलेवा हमला हुआ, जिस में इन ठेकेदारों ने अखिलेश सिंह का नाम लिया। इतना ही नहीं, इन ठेकेदारों ने यह भी ऐलान किया कि अखिलेश को जवाब देने में सक्षम हैं।
ऑडियो क्लिप में अखिलेश सिंह ने जमकर आग उगली। अखिलेश ने यहां तक कहा कि 20 साल पहले की घटना लोग भूल गये हैं जिसमें गैंगवार हुआ था, और उसमें से 30-3 का अता-पता तक आज नहीं मिल पाया है। ऐसे लोग नये कट्टाधारी लोग मुझे धमकी दे रहे हैं। स्‍पष्‍ट तौर पर गैंगवार की धमकी देते हुए अखिलेश सिंह ने कहा है कि रायबरेली में तो पीएम मोदी भी कुछ नहीं कर सकते।

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