राजस्थान में स्वाइन फ्लू का कहर, दो महीने में 88 मौत, एक विधायक भी चपेट में आये

राजस्थान में स्वाइन फ्लू की दस्तक, अब तक 88 लोग मौत के मुंह में समाये.;

Update: 2018-02-21 09:44 GMT

राजस्थान में इस समय स्वाइन फ्लू का कहर जारी है. इस साल मिले आंकड़ों के मुताबिक राज्‍य में अभी तक 88 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 976 लोगों में एच1एन1 टेस्‍ट पॉजिटिव पाया गया है. आलम ये है कि सर्दी, जुकाम और वायरल के करीब 85 फीसदी से ज्यादा मरीज राजकीय अस्पतालों में है, जिससे स्वाइन फ्लू का खतरा बढ़ गया है.


जालोर विधायक अमृता मेघवाल भी स्वाइन फ्लू की चपेट में हैं. राजस्थान सरकार ने ये फैसला लिया है कि सभी विधायकों की स्वाइन फ्लू जांच की जाएगी. विधायक के चपेट में आने के बाद राजस्‍थान के सभी विधायकों की स्‍वाइन फ्लू की जांच की जाएगी. राजस्‍थान की बीजेपी विधायक अमृता मेघवाल में स्‍वाइन फ्लू पॉजिटिव पाया गया है, जिसके बाद भी वह विधानसभा पहुंचीं. इसके बाद अब दूसरे विधायकों में भी स्वाइन फ्लू का खतरा बढ़ गया है. इसलिए सरकार ने ये फैसला लिया है कि सभी विधायकों की स्वाइन फ्लू की जांच कराई जाएगी. 


क्या है स्वाइन फ्लू के लक्षण

स्वाइन फ्लू के लक्षण भी सामान्य एन्फ्लूएंजा जैसे ही होते हैं. नाक का लगातार बहना, छींक आना, लगातार खांसी, सिर में दर्द, नींद ना आना, ज्यादा थकान, बुखार का ना उतरना और गले में लगातार खराश बढ़ते जाना स्वाइन फ्लू के प्रमुख लक्षणों में से एक है.

कैसे फैलता है एच-1-एन-1 वायरस

स्वाइन फ्लू का वायरस हवा में ट्रांसफर होता है. इसलिए खांसने, छींकने, थूकने से वायरस सेहतमंद लोगों तक पहुंच जाता है. यह एक से दूसरे के बीच बहुत तेजी से फैलता है. इंफ्लूएंजा ए स्‍वाइन फ्लू वायरस के एक प्रकार 'एच-1-एन-1' द्वारा संक्रमित व्‍यक्ति द्वारा दूसरे व्‍यक्ति को फैलता है. यह बात याद रखिये सुअर का मांस खाने से स्‍वाइन फ्लू नहीं होता. 


लगातार बढ़ रहे मामलों को देखते हुए स्वास्थ्य मंत्री कालीचरण सराफ ने जनस्वास्थ्य विभाग के निदेशक को मामले में गंभीरता और विशेष सावधानी बरतने के निर्देश दिए हैं. आपको बता दें कि भीलवाड़ा जिले के मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र से विधायक कीर्ति कुमारी का पिछले साल स्वाईनफ्लू संक्रमण से निधन हो गया था.

देश में स्वाइन फ्लू के काफी अधिक मामले राजस्थान में हैं. दो माह में स्वाइन फ्लू जनवरी-फरवरी माह में 88 लोगों की जान ले चुका है और 976 मरीज पॉजिटिव आ चुके हैं. इस जानकरी के बाद प्रदेश में हडकम्प मचा हुआ है. स्वास्थ्य विभाग भी सतर्क नजर आ रहा है. अगर ढिलाई बरती गई तो कई जाने भी जा सकती है. फिलहाल सरकार कोई इस बीमारी को रोकने में कोताही नहीं बरत रही है. 

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