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बिहार में सत्ताधारी जनता दल यूनाइटेड (JDU) में सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है। पार्टी ने संगठन का कामकाज देख रहे अपने चार पदाधिकारियों को पार्टी से बर्खास्त कर दिया है। इनमें पार्टी के दो महासचिव, एक प्रदेश प्रवक्ता और एक भंग प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष हैं। इनमें पार्टी के प्रवक्ता अजय आलोक (Ajay Alok) भी शामिल हैं।
चारों निष्कासित नेता केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार (PM Narendra Modi Government) में मंत्री व पार्टी के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष आरपीसी सिंह (RCP Singh) के करीबी माने जाते हैं। इसके पहले जेडीयू ने आरसीपी सिंह को राज्यसभा नहीं भेजने का फैसला किया था, जिससे अब उनके केंद्र में मंत्री बने रहने पर सवाल खड़ा हो गया है।
जेडीयू के जिन पदाधिकारियों को बर्खास्त किया गया है, उनमें पार्टी के महासचिव अनिल कुमार व विपिन यादव, पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता डा. अजय आलोक और भंग समाज सुधार सेनानी प्रकोष्ठ के अध्यक्ष जितेंद्र नीरज शामिल हैं। अनिल कुमार और विपिन कुमार काफी दिनों से जेडीयू प्रदेश कार्यालय के बाहर केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह के कार्यक्रमों में सक्रिय दिख रहे थे। डा. अजय आलोक ने भी पिछले दिनों राज्यसभा चुनाव के समय प्रत्याशी के चयन को लेकर सार्वजनिक रूप से आरसीपी सिंह के समर्थन में वक्तव्य दिया था। वैसे, पार्टी नेतृत्व का कहना है बर्खास्तगी के मूल में यह बात है कि ये लोग समानांतर तरीके से सक्रिय थे।
जेडीयू के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा ने कहा कि पार्टी के पदाधिकारी का काम दल को मजबूत व सशक्त करना होता है। उनसे यह अपेक्षा की जाती है कि वे अपनी पूरी ऊर्जा का इस्तेमाल पार्टी के सर्वमान्य नेता नीतीश कुमार को मजबूत करने के लिए करेंगे। इसके विपरीत जिन नेताओं को बर्खास्त किया गया है वे लोग पिछले कुछ महीने से दलहित के विरुद्ध पार्टी के समानांतर चल रहे कार्यक्रम में सक्रिय थे। वे पार्टी के पदाधिकारी के रूप में दल के कार्यकर्ताओं से संवाद स्थापित कर उन्हें दिग्भ्रमित कर रहे थे।
अजय आलोक ने दी प्रतिक्रिया, बोले- थैंक्यू
अपनी बर्खास्तगी पर अजय आलोक ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एवं जेडीयू के अध्यक्ष ललन सिंह को टैग करते हुए अपने ट्वीट में प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने इसके लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एवं अध्यक्ष ललन सिंह को धन्यवाद दिया है।