मेरठ

तीन दिन पहले धमकी देकर गया था सिपाही, फिर पिता-पुत्र को मार डाला, चलती कार से फेंके थे शव

Shiv Kumar Mishra
8 April 2022 10:22 AM GMT
तीन दिन पहले धमकी देकर गया था सिपाही, फिर पिता-पुत्र को मार डाला, चलती कार से फेंके थे शव
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मेरठ: हत्यारोपी सिपाही विक्रांत ने तीन दिन पहले कंकरखेड़ा की न्यू सैनिक कॉलोनी में भूपेंद्र के घर जाकर जान से मारने की धमकी दी थी। भूपेंद्र की मां सुरेश देवी ने पुलिस को भी यह जानकारी दी है। सिपाही ने सरकारी असलहे से बिजेंद्र तालियान को दो गोली मारी, जिनमें से एक सीने में और दूसरे सिर में लगी। बेटे अर्जुन के सीने में एक गोली मारी। पिता-पुत्र को गोली मारने के बाद हत्यारोपी ने दोनों के शवों को चलती कार से फेंका था।

नोएडा से पहले मेरठ के कंकरखेड़ा थाने में तैनाती के दौरान सिपाही विक्रांत ने न्यू सैनिक कॉलोनी में भूपेंद्र तालियान के घर के पास किराये पर मकान लिया था। सिपाही का भूपेंद्र के पास आना-जाना था। नजदीकी होने के चलते रुपये का लेन-देन भी दोनों के बीच चलता था। छह माह पहले भूपेंद्र ने सिपाही के भाई अर्जुन को सेना में भर्ती कराने की बात कहकर रुपये ले लिए। रुपये के लेन-देन के विवाद में दोनों के बीच तनाव बढ़ता गया।

बताया गया कि तीन दिन पहले सिपाही कंकरखेड़ा स्थित न्यू सैनिक कॉलोनी में भूपेंद्र के घर आया था। जहां पर भूपेंद्र और उसका बेटा अर्जुन नहीं थे। घर पर भूपेंद्र की मां सुरेश और पत्नी दुर्गेश थे।

आरोप है कि सिपाही ने सास-बहू को धमकी दी थी कि अगर उसका पूरा रुपये नहीं आए तो भूपेंद्र और उनके बेटे अर्जुन को मार देगा। सुरेश देवीऔर दुर्गेश डर गईं और अगले दिन मंगलवार को सुरेश देवी और भूपेंद्र 50 हजार रुपये लेकर सिपाही के घर पहुंच गए। वहां सिपाही और उसके भाई ने पिता-पुत्र को बंधक बनाया और हत्या कर दी।

सिपाही पर बड़ी कार्रवाई होगी

एडीजी मेरठ जोन राजीव सभरवाल का कहना है कि आरोपी सिपाही और उसके परिवार पर शामली पुलिस द्वारा बड़ी कार्रवाई की जा रही है। सिपाही को इस मामले में बर्खास्तगी कराने की रिपोर्ट तैयार हो रही है। सिपाही समेत तीन आरोपियों को जेल भेजा गया है। इस मामले में कांधला पुलिस की लापरवाही की भी जांच चल रही है।

कंकरखेड़ा पुलिस नहीं पहुंची, कांधला पुलिस आई

भूपेंद्र और अर्जुन के शव को लेकर कांधला पुलिस के दरोगा सन्नी चौधरी, निशिल धामा और सचिन कुमार मेरठ पहुंचे। अंतिम संस्कार कराने के बाद ही पुलिस वापस लौटी। अंतिम संस्कार के दौरान स्थानीय पुलिस मौजूद नहीं रही। वहीं कंकरखेड़ा पुलिस ने पीड़ित परिवार के घर दो सिपाही तैनात किए हैं।

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