सारण के युवा का कमाल: पेट काट पैसा बचाया , नैनो खरीदी और बना दिया हेलीकाप्टर

पायलट नहीं बनने का मलाल से एक युवक कार को ही हेलिकॉप्टर बना चर्चा में आ गया है जानिए पूरी कहानी

Update: 2019-08-11 05:45 GMT

पटना से शिवानंद गिरि की रिपोर्ट

पटना - बिहार के सारण जिले का एक युवक पायलट बनना चाहता था लेकिन गरीबी के कारण उसका सपना पूरा नहीं हो सका। युवक ने नैनो कार को हेलीकॉप्टर का रूप दे दिया। अब इसे देखने वालों की भीड़ लगी है।...सारण (छपरा) के एक युवक इन दिनों चर्चा में है और चर्चा का वजह है उसके द्वारा बनाया गया नैनो कार में हेलीकाप्टर।

दरअसल ,बिहार के छपरा जिला 23 वर्षीय युवक मिथिलेश पायलट बनना चाहता था, लेकिन किसान परिवार का होने के कारण पायलट बनने का उसका हसरत पूरा नहीं होता। उसके सपनों को पंख नहीं लग पाए, लेकिन उसने अपनी कार को ही पंख लगाकर हेलिकॉप्टर बना लिया। सात महीने की कठिन मेहनत के बाद पंख लगाकर हेलिकॉप्टर की डिजाइन में तैयार की गई यह कार इन दिनों आकर्षण का केंद्र बनी हुई है।




 बनियापुर प्रखंड के सरमी गांव के 23 वर्षीय मिथिलेश कुमार प्रसाद ने पुरानी नैनो कार खरीदकर उसे 'हेलीकॉप्टर' बना दिया है। कार उड़ तो नहीं सकती, पर वह इसे लेकर जब सड़क पर निकलता है तो देखने वालों की भीड़ लग जाती है। 

बचपन के इस सपने को किया साकार

मिथिलेश और उनके भाई पाइप फिटिंग का काम करते हैं। मिथिलेशके अनुसार बचपन से हेलीकॉप्टर उड़ाने का सपना मन में पल रहा था। गांव के स्कूल से इंटर तक की पढ़ाई के बाद गुजरात में अपने भाइयों के साथ पाइप फिटर का काम करते हुए करीब सात माह तक उसने इसपर काम किया।




 पेट काट कर पैसा जुटाया ,नैनो खरीदी और बना दिया हेलीकॉप्टर

मिथिलेश के अनुनसार नैनो उसे तनखाह के पैसे में पेट काट कर पैसा इकट्ठा किया और खरीदी नैनो।उसके बाद अपने घर में उसकी बॉडी को हेलीकॉप्टर जैसी बनाकर उसमें मोटर लगाई। पीछे के शेप को भी हेलीकॉप्टर की तरह बनाकर उसमे लाइट आदि लगाई। अब यह देखने में बिल्कुल हेलीकॉप्टर ही लगती है। मिथिलेश की गाड़ी जिस रास्ते से गुजरती है उसे देखने भीड़ उमड़ जाती है। 

.....शादियों में दूल्हा-दुल्हन बैठाने के लिए होने लगी है मांग

वे बताते हैं कि कार को हेलीकॉप्टर का स्वरूप देने में उनके सात लाख रुपये खर्च हुए। सेकेंड हैंड नैनो खरीदकर उसे यह स्वरूप दिया। अब तो इसे शादी-ब्याह में दूल्हा-दुल्हन बैठाने के लिए लोग इसे मांगते हैं।




बचपन से उसे जहाज व हेलीकॉप्टर वाले खिलौने पसंद 

यह पूछने पर कि उन्होंने हेलीकॉप्टर की तकनीकी किससे सीखी, उसने बताया कि बचपन से उसे जहाज और हेलीकॉप्टर वाले खिलौने पसंद हैं। इन्हें खोलकर वह तकनीकी सीखता था। उसने कारनुमा हेलीकॉप्टर में कॉकपिट के साथ ही उन सभी लाइटों का इस्तेमाल किया है जो वास्तविक हेलीकॉप्टर में लगाई जाती हैं। बटन से इसके पंख घूमने लगते हैं। 

इस हेलीकॉप्टर का इंटीरियर लोहे का बना है जबकि बाहरी हिस्सा एल्युमिनियम का है। उन्होंने टेल रोटर, मुख्य रोटर ब्लेड, टेल बूम, रोटर मास्ट और कॉकपिट भी बनाया है। मिथिलेश ने बताया कि इन सबके अलावा उन्होंने अपने हेलीकॉप्टर में ट्रिप लाइटें, आरजीबी रिमोट कंट्रोल लाइटें भी रोटार ब्लेड और टेल रोटार में लगाईं हैं। 

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