Noida : लग्जरी कारों के टायर चोरी करने वाले अंतरराज्यीय गिरोह का पर्दाफाश, चार गिरफ्तार

एडीसीपी शक्ति अवस्थी ने बताया कि यह अन्तर्राज्यीय टायर चोरों का गिरोह है। इसका मास्टर माइंड राजू गुर्जर है।

Update: 2023-04-07 07:21 GMT

नोएडा (धीरेन्द्र अवाना) : नोएडा पुलिस को उस वक्त एक बड़ी सफलता मिली जब थाना सैक्टर-20 पुलिस ने लग्जरी कारों के टायर चोरी करने वाले एक अंतरराज्यीय गिरोह का पर्दाफाश करते हुये चार लोगों को गिरफ्तार किया है।इनकी पहचान दिल्ली निवासी राजू गुर्जर,ललित माथुर,मनीश सिंह बिष्ट और चन्द्र भूषण के रुप में हुयी।इनके पास से 30 अलॉय व्हील टायर, घटना में प्रयोग की जा रही हुंडई एसेंट कार बरामद हुयी है।ये लोग अब तक 150 घटनाओं को अंजाम दे चुके है।

गिरोह के सरगना राजू गुर्जर के खिलाफ करीब तीन दर्जन मुकदमें दर्ज है।आपको बता दे कि पुलिस आयुक्त लक्ष्मी सिंह के निर्देश पर अपराध पर निरंतर अंकुश लगाया जा रहा है।इसी क्रम में एसीपी प्रथम रजनीश वर्मा ने कुशल नेतृत्व में थाना सैक्टर-20 प्रभारी मनोज सिंह ने अपनी टीम उप निरीक्षक अमित कुमार,उप निरीक्षक वीरभद्र सिंह,उप निरीक्षक मुकुल यादव,हे०का० ईदरीश और का० अखिल के साथ मिलकर लग्जरी कारों के टायर चोरी करने वाले एक अंतरराज्यीय गिरोह का पर्दाफाश करते हुये चार लोगों को गिरफ्तार किया है।

एडीसीपी शक्ति अवस्थी ने बताया कि यह अन्तर्राज्यीय टायर चोरों का गिरोह है। इसका मास्टर माइंड राजू गुर्जर है। यह गिरोह दिल्ली एवं एनसीआर क्षेत्र गाजियाबाद व नोएडा में सेक्टरों व काॅलाेनियों में खड़ी कारों के व्हील चोरी करते है ये काम गिरोह पिछले आठ सालों से कर रहा था।गैंग सरगना राजू गुर्जर के खिलाफ दिल्ली में कार व्हील चोरी करने के करीब 32 मुकदमे दर्ज है। उन्होंने बताया कि गिरोह अपनी कार से दिल्ली व एनसीआर में आवासीय सेक्टरों व कालोनी यों में रात के समय रेकी करते थे।इस दौरान ये देखते थे कि कहां पर नए मॉडल की गाड़ियां असुरक्षित स्थानों पर खड़ी है । ऐसी गाडियों को चिह्नित कर बहुत तेजी के साथ गाड़ी के नीचे जैक लगाकर पांच मिनट के अंदर ही व्हील खोल कर अपनी गाड़ी में लादकर फरार हो जाते थे।

गैंग सेक्टरों व कॉलोनियां में रैकी करने से पहले अपनी कार पर फर्जी नंबर प्लेट लगा लेते थे।एक बार यूज की गई फर्जी नंबर प्लेट अगले दिन यूज नहीं की जाती थी।अगली चोरी के लिए नई फर्जी नंबर प्लेट लगाई जाती थी।चोरी किए गए कार व्हील को एक सुरक्षित स्थान पर रखते थे।

बदमाश दिल्ली, गाजियाबाद व नोएडा में टैक्सी स्टैंड पर आने वाले टैक्सी चालकों व कार मार्केट में आने वाले ग्राहकों से सम्पर्क कर उन्हें एक व्हील 5000-10000 रुपए की कीमत में बेच देते थे। यह गिरोह टैक्सी स्टैंड व कार मार्किट में घूम कर ग्राहकों से डिमांड की जानकारी करते थे।इसी डिमांड के अनुसार रैकी कर कारों के व्हील चोरी करते थे।

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