कुर्सी बचाने की जुगत में फर्जी गुडवर्क से बाज नहीं आ रहे थानेदार

In order to save the chair, the SHO is not deterred by fake good work

Update: 2023-07-30 11:21 GMT

- 151, सुतली बम और जंग लगे कट्टा के भरोसे चल रही कई ख़ाकीधारियो की थानेदारी !

- असोथर पुलिस सोती रही, चोरी की एक दर्जन बाइक ले गई उन्नाव पुलिस..!

- सुसवन से शातिर को उठाया, गुरुवार व शुक्रवार को की कई जगहों पर छापेमारी !

- कई खरीददारों से भी चोरी की बाइक की रिकवर ! 

( विवेक मिश्र )

जिले में तत्कालीन पुलिस अधीक्षक राजेश सिंह के तबादला होते ही अकर्मण्य थानेदार कुर्सी बचाने की जुगत में लगे हैं। ऐसे में कुछ दरोगा गुडवर्क की होड़ में गलत सही सब करने को तैयार हैं। थानों की कुर्सी में ऐसे भी थानेदार जमे हैं जिन्होंने बीते दो वर्षों में जमकर नोच घसोट की और सिस्टम में सेट होकर उनकी थानेदारी चलती रही। इस दौरान एक दो खाकी धारी ऐसे भी रहे जिन पर हत्या, लूट, मारपीट आदि के मामलों में एफआईआर भी दर्ज हुई, जिनमे एक महाशय तो चार्ज से बाहर हैं मगर एक आज भी मलाई काट रहे हैं। विधायक की चाकरी करने वाला एक दरोगा तो बीडब्ल्यू वारंट के नाम पर वसूली की नीयत से व्यापारी के घर में ही कूद गया। आश्चर्य यह है कि जिस दिन वह कूदा तो कार्रवाई के बजाय कुछ ही दिन में उसे थानेदारी मिल गई। ऐसे आधा दर्जन से अधिक थानेदार 151, फर्जी सुतली बम, 1 किलो गांजा, टूटा फूटा कट्टा लगाकर आये दिन गुडवर्क कर सीट बचाने की पुरजोर कोशिश कर रहे हैं। जबकि दूसरे जिले की पुलिस फ़तेहपुर में घुसकर थानेदारो के नाक के नीचे से अपराधियो को पकड़कर गुडवर्क रही है।

बता दें कि असोथर थाना क्षेत्र के धर्मपुर सुसवन का रहने वाला शातिर ललित यादव लिफ्टर गैंग का सरगना है जो लम्बे समय से कानपुर, उन्नाव, लखनऊ आदि जनपदों से बाइक चोरी करवाता है जिसके गैंग में आधा दर्जन से अधिक लोग काम करते हैं। उन्नाव व कानपुर नम्बर की आधा दर्जन से अधिक चोरी की गाड़ी बिना रजिस्ट्रेशन बदले फ़तेहपुर में औने पौने दाम मे बिक गई थीं जो धड़ल्ले से असोथर थाना क्षेत्र सहित जिले में घूम रही थीं। लम्बे समय से चोरी की गाड़ियां धर्मपुर सुसवन गांव आती रही और वहीं से ठिकाने लगाई जाती रहीं लेकिन असोथर सहित जिले की अन्य टीमो को भनक नहीं लगी। गुरुवार रात उन्नाव की स्वाट टीम व कोतवाली पुलिस ने असोथर थाना क्षेत्र के धर्मपुर सुसवन गांव में छापा मारा। जहां से ललित यादव को गिरफ्तार कर उसके कब्जे से आधा दर्जन चोरी की बाइक बरामद की। उन्नाव पुलिस ने ललित के साथ थोड़ी सख्ती दिखाई तो उसने चोरी की गाड़ियां जिनको बेचा था उनका भी पता बता दिया।

उन्नाव पुलिस ने जिले के कई स्थानों में गुरुवार व शुक्रवार को छापा मारकर आधा दर्जन और बाइकें बरामद की। लगभग एक दर्जन चोरी की बाइक सुधीर साहू की पिकअप में लदवाकर आरोपी सहित पुलिस उन्नाव ले गई। जिसका खुलासा शनिवार को उन्नाव पुलिस ने 17 बाइक बरामदगी दिखाकर किया। जिसमें अन्य आरोपी भी जेल भेजे गए। अब सवाल यह उठता है कि जिले में दर्जनों चोरी की बाइको की खपत हो रही थी जो सड़को पर ही दौड़ रही थी, असोथर थाना क्षेत्र से लिफ्टर गैंग संचालित हो रहा था मगर स्थानीय पुलिस को इसकी भनक तक नहीं लगी। मुखबिर के नाम पर एक किलो गांजा, सुतली बम पकड़ने वाली पुलिस से ये अपराधी कैसे बच गए। दूसरी बात प्रत्येक क्राइम मीटिंग में अपराधियों, चोर, लुटेरो के भौतिक सत्यापन के लिए निर्देशित किया जाता है मगर जमीन पर ये होता नहीं है अगर हो रहा होता तो निश्चित ये शातिर अपराधी फ़तेहपुर पुलिस की गिरफ्त में होते।

बताते हैं कि लिफ्टर गैंग के सरगना ललित उर्फ लीला यादव पुत्र शंकरलाल निवासी धर्मपुर सुसवन खुर्द पर चोरी, फ्रॉड व लूट के लगभग एक दर्जन मुकदमे उन्नाव व कानपुर में दर्ज हैं। ऐसा शातिर अपराधी फ़तेहपुर के असोथर थाना क्षेत्र के सुसवन गांव में रहकर पूरा नेटवर्क संचालित कर रहा था जिसकी मोनिटरिंग आज तक असोथर पुलिस की ओर से नहीं की गई। यही गैंग फ़तेहपुर से बाइक चोरी कर अन्य जनपदों में बेचता था जबकि अन्य जनपदों से बाइक चोरी कर फ़तेहपुर जनपद के तिरहार क्षेत्र में बिक्री करता था। जनपद में पुलिस अधीक्षक के बदलने के बाद उम्मीद है कि ऐसे कलंदर थानेदारो की कार्यशैली में बदलाव आएगा। नवागंतुक पुलिस अधीक्षक उदय शंकर सिंह जनपद के थानों में निरीक्षण कर थानेदारो की कार्यशैली को परख रहे हैं जल्द ही बड़ा बदलाव देखने को मिल सकता है !

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