शराब माफियाओं का कहर, तीन लोगों को नंगा करके पीटा, वीडियो वायरल

पड़ताल करते हुए आखिरकार उसके परिजनों से जब मिला गया तो उन्होंने पूरी घटना से ही पर्दा उठा दिया?

Update: 2018-08-20 13:40 GMT

मुरादाबाद : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भले ही बदमाशों को ठोकने की बात क्यों करते हो, लेकिन प्रदेश के शराब माफियाओ पर अभी शिकंजा कसना बाकी है क्योंकि मुरादाबाद की घटना से तो कुछ ऐसा ही लगता है. दरअसल घटना दस अगस्त की बताई जा रही है इस घटना की जानकारी भी लोगो को उस समय लगी जब एक वीडियो तेजी के साथ वायरल हुआ. इस वीडियो में दिख रहे दो युवक पहले से नंगे खड़े दिखाई दे रहे हैं और कुछ देर बाद ही पीछे से कई लोगो की आवाजें आती हैं वो लोग गाली देते हुए.

तीसरे व्यक्ति के कपड़े उतार कर पिटाई करने का हुक्म सुनाते हैं और बस फिर मुरादाबाद के सिविल लाइन इलाके में जैसे तालिबानी सजा शुरू हो जाती है. बारी बारी से सबकी पिटाई हो रही होती है और ऑफिस नुमा बड़े कमरे में सोफे पर बैठे लोग अपने अपने मोबाइल हैं पूरी पिटाई को कैद कर रहे होते हैं. और भी कई लोग इस पिटाई का वीडियो बनाते हुए वायरल वीडियो में कैद हुए हैं. इस वीडियो के वायरल होने के बाद जब इन तीनो पीड़ितों के बारे में पड़ताल जी गई तो पता चला कि जिस व्यक्ति की पेंट उतरवाई जा रही हैं उसका नाम प्रमोद कुमार शुक्ला है जो सिविल लाइन क्षेत्र स्थित एक शराब की हट्टी पर सुपरवाजर है और वह गोविंद नगर क्षेत्र का रहने वाला है.

पड़ताल करते हुए आखिरकार उसके परिजनो से जब मिला गया तो  उन्होंने पूरी घटना से ही पर्दा उठा दिया. पीड़ित की पत्नी ने बताया कि उसके पति पिछले चार महीने से पीएसी तिराहे स्थित देशी शराब की हट्टी पर नौकरी कर रहे थे और घटना वाले दिन उन्हें एक साजिश के तहत नवीन नगर वाले ऑफिस पर बुला कर उनके साथ इस तरह से मारपीट की गई और सूचना मिलने पर जब वह वहाँ पहुँची तो वह पर मौजूद गजेंद्र त्यागी और सर्वेश यादव ने उसे भी गालियां देकर भगा दिया  और उसके पति और दो अन्य युवको पर शराब में चोरी करने का आरोप लगाते हुए जेल भिजवा दिया है.

घटना के तीन चार दिन बाद जब उसे पता चला कि उसके पति की पिटाई का वीडियो वायरल हो रहा हैं तो वह उस घटना की लिखित में शिकायत करने के लिए सिविल लाइन थाने भी गई थी , लेकिन उसे सिविल लाइन पुलिस ने थाने से हड़का कर भगा दिया. वीडियो वायरल होने के बाद अब शराब माफिया के लोग उसके ऊपर दबाव बना रहे हैं कि वह कहीं भी कोई शिकायत न करे. अभी दो दिन पहले कुछ लोगो ने आकर उससे एक समझौतेनामे पर साइन कराए हैं और इसी तरह उन दोनों युवकों के परिजनों पर दबाव बनाया जा रहा है. वह चाहती हैं कि जिस फर्जी मुकदमे में उसके पति को जेल भेजा गया हैं वह वापस लिया जाये और वाइरल वीडियो में दिख रहे आरोपियों के खिलाफ शक्त कारवाही हो.

पीड़ित पक्ष ने सिविल लाइन थाने पर भी कई सवाल खड़े कर दिए हैं इस तालिबानी सजा के वायरल वीडियो पर जब सीओ सिविल लाइन से वर्जन लेने जी कोशिश जी गई तो वो अपनी पुलिस को घिरता देख कैमरे पर कुछ भी बोलने को तैयार नही हुई  हाँ वीडियो देखने के बाद जाँच कराने की बात जरूर कहने लगी.

रिपोर्ट : सागर रस्तोगी 

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