रामपुर में चला एसपी डॉ अजयपाल शर्मा का ऑपरेशन गजराज

Update: 2019-07-19 03:33 GMT

यूपी के रामपुर में 30 जून को बिलासपुर में रेलवे ट्रेक पर कब्जा करने के बाद पापड़ की फेरी लगाने वाले बिहार के अधेड़ बैजनाथ को मौत के घाट उतारने वाले नेपाल से आए उन्मादी हाथियों ने सनसनी फैला दी।

18 दिन के सफर में चार लोगों की जान लेने वाले और आधा दर्जन लोगों को गंभीर रूप से घायल करने वाले हाथियों को आपरेशन गजराज के तहत बीती शाम थाना मिलक के ग्राम नगला उदई के जंगल में बेहोश कर दिया गया। प्रदेश के लगभग दर्जनभर जिलों से आए अधिकारियों की देखरेख में आपरेशन गजराज को अंजाम दिया गया।

दोनों उन्मादी हाथियों ने बरेली के वन दरोगा महंत एवं रामपुर के ग्राम चंदपुरा निवासी राजू के अलावा बहेड़ी के एक युवक को मौत के घाट उतार दिया। इनके अलावा मानपुर ओझा निवासी रंजन बाला एंव बिलासुपर निवासी लखविंदर सिंह समेत आधा दर्जन लोगों को पटककर गंभीर रूप से घायल कर दिया। रुद्रपुर के निजी अस्पतालों में घायलों पर लाखों रुपये खर्च हो चुके हैं।

नेपाल से पीलीभीत, बरेली होते हुए रामपुर पहुंचे उन्मादी हाथियों ने अपने 18 दिन के सफर में उत्तराखंड, रामपुर, बरेली, बदायूं के अफसरों को खूब छकाया। लोगों का जानमाल का नुकसान बढ़ने पर 17 जुलाई की शाम को चंपाकली, अनारकली और सुलोचना पर सवार होकर आपरेशन गजराज चलाकर दोनों उन्मादी हाथियों को बेहोश कर दिया गया। उन्मादी हाथियों के पकड़ में आने पर वन विभाग समेत लोगों ने चैन की सांस ली है।




 उन्मादी हाथियों के सफरनामे पर एक नजर

30 जून: बिलासपुर में रेलवे ट्रेक पर कब्जा, पापड़ की फेरी लगाने वाले बिहार निवासी बैजनाथ को पटक-पटककर मौत के घाट उतारा।

1 जुलाई: वन विभाग रामपुर की टीम ने हाका कर उन्मादी हाथियों को उत्तराखंड सीमा में पहुंचाया।

2 जुलाई: शांति कालोनी में घुसकर संजय भट्ट को पटककर घायल किया।

3 जुलाई: रामपुर की तहसील बिलासपुर में पहुंचे और टहलने निकले रंजन बाला को पटक-पटककर गंभीर रूप से घायल कर दिया।

4 जुलाई: बरेली सीमा में पहुंचे और वन दरोगा महंत को पटक-पटकर मौत के घाट उतार दिय।

5 जुलाई: असम से विशेषज्ञ डा. केके शर्मा रामपुर-बरेली सीमा पर पहुंचे।

6 जुलाई: बार्डर के गांव नरखेड़ा पहुंचे।

7 जुलाई: बार्डर के गांव सुकली में डेरा जमाया।

8 जुलाई: रजपुरा पहुंचे।

9 जुलाई: रजपुरा और सुकली के बीच मूव

10 जुलाई: ग्राम सुकली में डेरा जमाया। दुधवा नेशनल पार्क से चंपाकली, अनारकली, सुलोचना को बुलाया गया।

11 जुलाई: ग्राम नरखेड़ा में जमावड़ा

12 जुलाई: मीरगंज से रामपुर सीमा में घुसे

13 जुलाई: रठौंडा में विचरण किया।

14 जुलाई: ग्राम मगरमऊ में डेरा जमाया।

15 जुलाई: 14/15 जुलाई की रात चंदपुरा निवासी राजू को मौत के घाट उतारा।

16 जुलाई: सैंडोली के मंदिर पर कब्जा जमाया।

17: दिन में खाता चिंतामन में जमे रहे। शाम को चले आपरेशन गजराज में नगला उदई में वन विभाग के अफसरों ने किया बेहोश




आपरेशन गजराज में मुरादाबाद, रामपुर, बरेली, शाहजहांपुर, लखनऊ, झांसी, आगरा, पीलीभीत, लखीमपुर खीरी के अलावा असम से आए अधिकारियों की देखरेख में दोनों उन्मादी हाथियों को बेहोश किया गया। दोनों उन्मादी हाथियों को दुधवा नेशनल पार्क या बिजनौर भेजे जाने की तैयारी है।

इस पूरे ऑपरेशन के दौरान जिलाधिकारी और एसपी डॉ अजयपाल शर्मा खुद मौजदू रहे। अधिकारीयों की देखरेख के चलते इस मामले में बड़ी कामयाबी मिली है। जनता इस कार्य की खूब प्रसंशा कर रही है। 

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