एक चमत्कारी मंदिर जहां खुद-ब-खुद लग जाती है आग, माता करती हैं अग्नि स्नान

Update: 2021-09-18 09:15 GMT

यह चमत्‍कारिक मंदिर राजस्‍थान में स्थित है और इसे ईडाणा माता मंदिर के नाम से जाना जाता है। इस मंदिर की महिमा बहुत ही निराली है। यह स्‍थान उदयपुर शहर से 60 किमी दूर अरावली की पहाड़ियों में स्थित है। इस मंदिर के ऊपर कोई छत नहीं है और एकदम खुले चौक में स्थित है। इस मंदिर का नाम ईडाणा उदयपुर मेवल की महारानी के नाम से प्रसिद्ध हुआ।

यहां ईडाणा माता अग्नि से स्‍नान करती है। स्‍थानीय लोग बताते हैं यहां महीने में कम से कम 2-3 बार स्‍वत: ही अग्नि प्रज्‍जवलित हो जाती है और इस अग्नि में माता की मूर्ति को छोड़कर उनका पूरा श्रृंगार और चुनरी सब कुछ स्‍वाहा हो जाता है। इस अग्नि स्‍नान को देखने के लिए भक्‍तों का मेला लगा रहता है। अगर बात करें इस अग्नि की तो आज तक कोई भी इस बात का पता नहीं लगा पाया कि ये अग्नि कैसे जलती है।

मंदिर के पुजारी के अनुसार ईडाणा माता पर अधिक भार होने पर माता स्वयं ज्वालादेवी का रूप धारण कर लेती हैं। ये अग्नि धीरे-धीरे विकराल रूप धारण करती है और इसकी लपटें 10 से 20 फीट तक पहुंच जाती है।

इस चमत्‍कारिक अग्नि को स्‍वयं अपनी आंखों से देख चुके लोग बताते हैं कि इसकी खास बात यह है कि आज तक श्रृंगार के अलावा अग्नि से किसी और चीज को नुकसान नहीं पहुंचा है। इसे देवी का स्‍नान माना जाता है। इसी अग्नि स्नान के कारण यहां मां का मंदिर नहीं बन पाया। ऐसी मान्‍यता है कि जो भक्‍त इस अग्नि के दर्शन करते हैं उनकी हर इच्‍छा पूर्ण होती है।

Location - उदयपुर शहर से 60 कि.मी. दूर कुराबड- बम्बोरा मार्ग पर अरावली की विस्तृत पहाड़ियों के बीच स्थित है !

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